सपा विधायक के घर से छुड़ाए गए 5 महीने से कैद ब्लॉक प्रमुख

उत्तर प्रदेश में योगी सरकार रिपीट होते ही सपा नेताओं पर एक्शन भी शुरू हो गया है. यूपी पुलिस कानून का उल्लंघन करने वाले सपा के नेताओं के गिरेबान पर हाथ डालने से भी नहीं कतरा रही है. ऐसा ही एक मामला बस्ती (Basti) जनपद में उस वक्त देखने को मिला जब एक दो नहीं बल्कि 8 थानों की फोर्स सपा से सदर सीट से चुने गए विधायक और जिला अध्यक्ष महेंद्र नाथ यादव के घर छापा मारने पहुंच गई. भारी संख्या में फोर्स के पहुंचते ही हड़कंप मच गया.
ब्लॉक प्रमुख को पुलिस ने सपरिवार छुड़ाया
बता दें कि सपा विधायक महेंद्र यादव पर आरोप था कि उन्होंने बहादुरपुर ब्लॉक के प्रमुख रामकुमार का अपहरण किया है. इस मामले में पुलिस ने कलवारी थाने में पहले सपा विधायक के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया फिर बंधक ब्लॉक प्रमुख को बरामद करने के लिए कार्रवाई शुरू की. सपा विधायक के घर प्रमुख रामकुमार की लोकेशन मिली जिसके बाद तत्काल फोर्स उन्हें मुक्त करवाने के लिए पहुंची, पुलिस के पहुंचते ही सपा विधायक ने दरवाजा बंद कर लिया जिसके बाद काफी देर तक पुलिस मूकदर्शक बन खड़ी रही, कुछ देर की मशक्कत के बाद पुलिस ने सख्ती दिखाई और मजबूर होकर सपा विधायक महेंद्र यादव को बहादुरपुर ब्लॉक प्रमुख रामकुमार को पुलिस को सौंपना पड़ा. पुलिस टीम ने ब्लॉक प्रमुख रामकुमार और उनकी पत्नी व 4 छोटे बच्चों को भी सपा विधायक के चंगुल से छुड़ाया.
पिछले 5 महीनों से बंधक था परिवार
गौरतलब है कि सपा विधायक महेंद्र यादव के घर में पिछले 5 महीने से प्रमुख परिवार के साथ बंधक बने हुए थे, नाटकीय तरीके से आज पुलिस ने उन्हें छुड़ाया. रामकुमार पंचायत चुनाव में पहले तो बीजेपी के टिकट से चुनाव जीते मगर कुछ ही दिन बीतने के बाद रामकुमार ने पलटी मार ली और सपा विधायक के पाले में चले गए और सदस्यता ग्रहण कर ली. तब से रामकुमार को बीजेपी के नेता ढूंढ रहे थे मगर उनका कुछ पता नहीं चल पा रहा था, रामकुमार ने आज किसी तरह मोबाइल हासिल करने के बाद अपने साले से मदद मांगी जिसके बाद रामकुमार के साले ने कलवारी थाने में एफआईआर दर्ज कराया. रामकुमार को जब पुलिस ने छुड़ाया तो प्रमुख जब बाहर आते ही सबसे पहले मीडिया से बात की.
सपा फिलहाल खामोश
रामकुमार ने बताया कि उन्हें जबरन पिछले 5 महीने से उनका परिवार सहित अपहरण करके रखा गया है, किसी तरह से आज उन्हे पुलिस ने बंधक मुक्त कराया है. रामकुमार का जब अपहरण हुआ था तब महेंद्र नाथ यादव सिर्फ सपा के जिला अध्यक्ष थे, मगर इस बार जनता ने उन्हें चुनकर सदर सीट से यूपी की विधानसभा में भेजा है. मतलब साफ है सपा विधायक बनने के बाद सरकार का सीधा चाबुक महेंद्र यादव पर चला है. इस मामले में अब देखना है कि समाजवादी पार्टी का क्या स्टैंड होता है, क्योंकि सपा विधायक के घर से प्रमुख की बरामदगी हुई है तो जाहिर सी बात है सपा विधायक महेंद्र यादव कुछ कहने की स्थिति में फिलहाल नहीं हैं.
जिले के एसपी ने दी ये जानकारी
एसपी आशीष श्रीवास्तव ने बताया कि 18 मार्च का शाम को थाना कलवारी पर मिठाईलाल ने आकर ये सूचना दी उनके जीजा रामकुमार जो बहादुरपुर के वर्तमान ब्लॉक प्रमुख हैं, उनको 23 अक्टूबर 2021 को जिलाध्यक्ष समाजवादी पार्टी महेन्द्रनाथ यादव अपने साथ लेकर गए थे, और उनके जीजा रामकुमार द्वारा 17 तारीख की रात में अपने साले ओमप्रकाश से फोन पर बातचीत में बताया गया कि उनको जबरदस्ती महेन्द्र नाथ यादव ने अपने आवास पर बंधक बनाया हुआ है और उनको निकलने नहीं दिया जा रहा है. ओमप्रकाश की इस तहरीर के आधार पर एक मुकदमा पंजीकृत किया गया है, उन्होंने कुछ ऑडियो भी उपलब्ध कराए हैं, उन ऑडियो को सुन करके तहरीर पंजीकृत की गई और जब मौके पर पुलिस गई तो वहां पर रामकुमार मौजूद थे.
एसपी ने आगे कहा कि रामकुमार को वहां से लेकर के उनके परिवार को सुपुर्द कर दिया गया है. इस संबंध में आगे की कार्रवाई की जा रही है जो मजरुब और वादी है उनके बयान लेकर लिए जा रहे हैं, फिलहाल मजरुब को हमने अपने तरफ से पुलिस सुरक्षा उपलब्ध करवा दी है.
सपा विधायक के घर से बरामद हुए ब्लॉक प्रमुख
बस्ती में बहादुरपुर के वर्तमान ब्लॉक प्रमुख राम कुमार को समाजवादी पार्टी के जिलाध्यक्ष एवं बस्ती सदर विधानसभा क्षेत्र से नव निर्वाचित विधायक महेंद्र नाथ यादव के कोतवाली थाना क्षेत्र के सिविल लाइन स्थित घर से बरामद किया गया है। ब्लॉक प्रमुख रामकुमार के साले ने सपा विधायक पर अपने जीजा को घर में 4 माह से बंधक बनाकर रखने का आरोप लगाया। मामले को गंभीरता से लेते हुए पुलिस ने विधायक के आवास पर दबिश देकर उन्हें वहां से बरामद किया।
5 माह से बंधक बनाए जाने का आरोप
ब्लॉक प्रमुख रामकुमार के साले कलवारी थाना क्षेत्र के मधुपुरमिया निवासी ओम प्रकाश ने कलवारी पुलिस को दी गई तहरीर में अपने जीजा रामकुमार को अक्टूबर 2021 में अपने साथ ले जाने और पिछले 4 माह से घर के एक कमरे में बंधक बनाकर रखने का आरोप लगाया। एसपी आशीष श्रीवास्तव ने बताया कि ब्लॉक प्रमुख रामकुमार के साले की तहरीर पर मुकदमा दर्ज कर पुलिस मौजूदा विधायक के आवास पर पहुंची। जहां ब्लॉक प्रमुख मौजूद मिले। जिन्हें उनके परिवार के सुपुर्द किया गया है। इस सम्बन्ध में आगे की जानकारी की जा रही है। वादी और ब्लॉक प्रमुख के बयान के आधार पर आगे की कार्रवाई की जाएगी। उनके परिवार को पुलिस सुरक्षा उपलब्ध कराई गई है।
एसपी ने कहा- बयान के आधार पर होगी कार्रवाई
उत्तर प्रदेश में जिला पंचायत चुनाव के बाद से बस्ती में बेहद चर्चित ब्लाक प्रमुख के अपहरण के मामले में पुलिस को बड़ी सफलता मिली है। शुक्रवार देर रात पुलिस ने बस्ती सदर से नवनिर्वाचित समाजवादी पार्टी के विधायक महेन्द्र नाथ यादव के आवास से ब्लाक प्रमुख, ब्लाक प्रमुख की पत्नी तथा उनके चार बच्चों को बरामद किया है। इनको चार महीने पहले अगवा किया गया था और इस मामले में महेन्द्र नाथ यादव के खिलाफ अपहरण का केस भी दर्ज किया गया था।
बस्ती के समाजवादी पार्टी के जिलाध्यक्ष तथा बस्ती सदर से नवनिर्वाचित विधायक महेन्द्र नाथ यादव के खिलाफ अपहरण के मामले में शिकंजा कसा है। पुलिस ने देर रात करवाली थाना क्षेत्र में उनके आवास पर दबिश देने के बाद ब्लॉक प्रमुख राजकुमार, राजकुमार की पत्नी तथा चार बच्चों को छुड़ाया है। पुलिस ने इन सभी को महेन्द्र नाथ यादव के कब्जे से छुड़ाया है। पुलिस ने रात में जब दबिश दी, उस समय विधायक महेन्द्र नाथ यादव आवास में मौजूद थे। विधायक के आवास पर कई थानों की पुलिस ने एक साथ दबिश दी थी।
सपा विधायक महेंद्र नाथ यादव के आवास पर आधीरात को पुलिस ने छापा मारकर घर मे बंधक बना कर रखे गए बहादुरपुर के प्रमुख, उनकी पत्नी व बच्चों को मुक्त करा लिया। छापे के समय विधायक महेंद्र नाथ यादव भी घर में मौजूद थे। ब्लॉक प्रमुख रामकुमार, उनकी पत्नी व चार बच्चे को चार महीने से बंधक बनाया गया था। सभी महेंद्र यादव के घर में थे और इन पर 24 घंटे सख्त पहरा था। प्रमुख के साले ने कल रात में ही कलवारी थाने में मुकदमा दर्ज कराया था। इसी आधार पर पुलिस ने विधायक के आवास पर छापा मारा। इस कार्रवाई में कलवारी कोतवाली पुरानी बस्ती और लालगंज थाने की पुलिस फोर्स शामिल रही। प्रमुख और उसकी पत्नी बच्चों को लेकर पुलिस टीम रात में ही चली गई।
रामकुमार भाजपा के समर्थन से बहादुरपुर के प्रमुख बने थे । दो महीने के बाद सपा जिलाध्यक्ष ने उनको अपनी पार्टी में शामिल कराकर भाजपा को तगड़ा झटका दिया था। सबको लग रहा था कि प्रमुख ने अपनी इच्छा से पार्टी बदली है, लेकिन शुक्रवार की रात में एक फोन ने पूरे खेल को उजागर कर दिया। एएसपी का कहना है कि प्रमुख ने कल मौका पाकर फोन से अपने बंधक बनाए जाने की जानकारी अपने साले को दी थी। साले ने इसी आधार पर कलवारी थाने में मुकदमा दर्ज कराया। पुलिस ने त्वरित कार्रवाई करते हुए प्रमुख, उनकी पत्नी व बच्चों को विधायक आवास पर छापा मारकर बरामद कर लिया गया है। सोमवार को प्रमुख, उनकी पत्नी व बच्चों का कोर्ट में बयान दर्ज कराया जाएगा। इसके बाद आगे की कार्रवाई की जाएगी।
बस्ती से अजय यादव की रिपोर्ट ब्यूरो चीफ