सपा का आरोप- जल जीवन मिशन का काम ब्लैक लिस्टेड कंपनी को दिया गया है , इस आरोप का खंडन करते हुए सरकार ने कहा कि वित्त वर्ष 2016-17 से 31 मार्च, 2022 तक जल जीवन मिशन योजना के अंतर्गत कार्यों के लिए 17,411 करोड़ रुपये की धनराशि आवंटित की गई है। सरकार ने दावा किया कि यह कार्य किसी ब्लैक लिस्टेड कंपनी (काली सूची में दर्ज कंपनी) को नहीं दिया गया है। विधानसभा में मंगलवार को समाजवादी पार्टी के सदस्य रविदास मेहरोत्रा के प्रश्न के उत्तर में प्रदेश के जल शक्ति मंत्री स्वतंत्र देव सिंह की ओर से यह जानकारी दी गई। मेहरोत्रा ने यह पूछा था कि क्या जल जीवन मिशन का कार्य किसी ब्लैक लिस्टेड कंपनी को दिया गया है।
सरकार ने इस कार्य में किसी भी ब्लैक लिस्टेड कंपनी (काली सूची में दर्ज कंपनी) के होने से इनकार किया है। सरकार ने कहा है कि इसमें किसी भी तरह की कार्रवाई का सवाल नहीं उठता है। सदन में मेहरोत्रा ने पूरक प्रश्न के दौरान यह आरोप लगाया कि 9 प्रांतों में काली सूची में दर्ज और सेना द्वारा ब्लैक लिस्टेड एक कंपनी को जल मिशन योजना के तहत 17,411 करोड़ रुपये का कार्य दिया गया। उन्होंने कहा कि यह गंभीर विषय है। उन्होंने आरोप लगाया कि जल शक्ति मिशन योजना के घपले में बड़े लोग शामिल हैं।
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